Cataract - मोतियाबिंद
Cataract - मोतियाबिंद |
सफेदप्याज का रस 10 ग्राम, असली शहद छोटी मक्खियों का पतला शहद 10 ग्राम, भीमसेनी कपूर 2 ग्राम- इन तीनों को अच्छी तरह मिलाकर शीशी में
रख लें| रात को सोने से पहले कांच की सलाई
द्वारा आंखों में लगाने से उतरता हुआ आरंभिक मोतियाबिंद शीघ्र रुक जाता है| यदि उतरा हुआ भी हो तो साफ हो जाता है|
यदि
भीमसेनी कपूर ना मिल सके तो केवल शहद और प्याज के रस से ही काम चलाया जा सकता है
मोतियाबिंद का शर्तिया इलाज है|
विशेष -
मोतियाबिंद की प्रारंभिक अवस्था में केवल शुद्ध मधु प्रतिदिन एक बूंद आंखों में
तीन चार सप्ताह तक डालने से निश्चित रूप से लाभ होगा| काले मोतियाबिंद से बचाव होगा क्योंकि शहद से
आंखों की पुतली की पारदर्शिता बढ़ती है| और
नेत्रों का तनाव कम होता है| शुद्ध
मधु के नियमित रूप से प्रातः काल सलाई से आंखों में लगाते रहने से दृष्टि चिंता
दूर होकर नेत्र ज्योति बढ़ती है|| तथा
अन्य नेत्र संबंधी विकार दूर होते हैं| शहद
से नेत्रों में उनके तनाव की अनेक बीमारियां दूर हो जाती है|
दृष्टि
कभी मंद ना होगी- स्वस्थ आंखों में शुद्ध मधु की एक्सलाई सप्ताह में दो बार डालने
से दृष्टि कभी बंद नहीं होगी| बल्कि
उम्र के साथ तेज होगी| साथ ही खाने के लिए चार बदाम रात में
पानी में मैं और सवेरे 4:00 का इसके साथ पीसकर मिश्री के साथ
चैटिंग अथवा वैसे ही छठवां है और ऊपर से दूध पी ले तो कहना ही क्या सोने में
सुहागा|
परहेज-
मैदा, चीनी, धुले हुए चावल, खीर, उबले हुए आलू, हलवा, भारी तथा चिकनाई वाले भोजन| चाय, काफी, शराब| आचार, मुरब्बा, चॉकलेट
आदि का सेवन ना करें|
अनुकूल-
फल और सलाद का सेवन करें|
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